News India live, Digital Desk: अत्यधिक का उपयोग सीधे तौर पर हड्डियों के फ्रैक्चर का कारण नहीं बनता है, लेकिन इससे विटामिन डी की कमी हो सकती है, जो हड्डियों के स्वास्थ्य को प्रभावित कर सकती है।
सनस्क्रीन सूर्य की UVB किरणों को रोकता है, जो त्वचा में विटामिन डी के उत्पादन के लिए आवश्यक हैं। विटामिन डी की कमी से हड्डियां कमजोर हो सकती हैं (उदाहरण के लिए, ऑस्टियोपोरोसिस या ऑस्टियोमलेशिया), जिससे दीर्घावधि में फ्रैक्चर का खतरा बढ़ सकता है।
विवरण:
विटामिन डी और हड्डियों का स्वास्थ्य: विटामिन डी कैल्शियम को अवशोषित करने में मदद करता है, जो मजबूत हड्डियों के लिए आवश्यक है। इसकी कमी से हड्डियां कमज़ोर हो सकती हैं।
- सनस्क्रीन का प्रभाव: एसपीएफ 30 या उससे अधिक वाला सनस्क्रीन 95-98% यूवीबी किरणों को रोक सकता है, जिससे विटामिन डी का उत्पादन कम हो सकता है।
संभावित जोखिम: लंबे समय तक सनस्क्रीन का अत्यधिक उपयोग, विशेष रूप से सूर्य के प्रकाश के सीमित संपर्क से, विटामिन डी की कमी हो सकती है।
- सीमित धूप में रहना: प्रतिदिन 10-30 मिनट तक बिना सनस्क्रीन के धूप में रहें (त्वचा के प्रकार और धूप की तीव्रता के आधार पर)।
- भोजन और पूरक आहार: विटामिन डी से भरपूर खाद्य पदार्थ खाएं, जैसे वसायुक्त मछली, अंडे की जर्दी, या विटामिन डी युक्त खाद्य पदार्थ। यदि आवश्यक हो तो अपने चिकित्सक की सलाह के अनुसार विटामिन डी की खुराक लें।
- संतुलित सनस्क्रीन का उपयोग: त्वचा कैंसर को रोकने के लिए सनस्क्रीन का उपयोग जारी रखें, लेकिन सूर्य के प्रकाश से पूरी तरह बचें नहीं।
यद्यपि अत्यधिक सनस्क्रीन का उपयोग सीधे तौर पर हड्डियों के फ्रैक्चर का कारण नहीं बनता, परन्तु विटामिन डी की कमी से हड्डियों का स्वास्थ्य प्रभावित हो सकता है। संतुलित धूप और आहार के माध्यम से विटामिन डी के स्तर को बनाए रखना महत्वपूर्ण है। अपने विटामिन डी के स्तर की जांच के लिए डॉक्टर से परामर्श करें और उचित सलाह लें।
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